Shabar Mantra eBook Part 20 Anubhut Shabar Mantra
शाबर मन्त्र भाग 20 अद्भुत शाबर मन्त्र संग्रह
ॐ गुरुर्ब्रह्मा गुरुर्विष्णुः गुरुर्देवो महेश्वर:
गुरु साक्षात् परब्रह्म तस्मै श्री गुरुवे नम:||
गुरुदेव ही ब्रह्मा, विष्णु और शिव है | गुरुदेव ही साक्षात् परब्रह्म है |
अतः ऐसे गुरुदेव को मैं नमस्कार करके शाबर मंत्र के विषय में लिख रहा हूँ | मन्त्र तन्त्र शास्त्र का विषय बहुत ही कठिन व जटिल है |
शाबर मंत्र की विद्याये कई प्रकार की कही गयी है | कई तांत्रिक लोग ६४ (64) योगिनी को लेकर चलते है, कई ३ योगिनी को और कई ६८ (68) योगिनी को, तो कई ८४ (84) योगिनी को लेकर चलते है | शाबर मन्त्रो के अलग अलग फड़ होते है जैसे- औघड़, उल्तनी, पलटनी, बैह्या, मरघट वीर, मरही माता, दुल्ल्हादेव, बाघ देव, खैर माता, भिल्ट बाबा, भैसासुर, महिसासुर, काल्हा बाबा, कावड़ खण्ड की मैली, देसावरी, मराहि माता आदि ||
शाबर मंत्र अत्यंत ही अटपटे शब्दों की रचना होती है | जिसके बार बार आवृति से यह अत्यंत ही तीक्ष्ण प्रभावशाली बनकर तनाव चिंता से मुक्ति दिलाते ही है | साथ में मानवी इच्छा को पूर्ण करते है | इन मंत्रो के मूलभूत स्रष्टा गुरु गोरखनाथ जी है | जिन्होंने इन मंत्रो की रचना कर अध्यात्म के क्षेत्र में क्रांतिकारी परिवर्तन लाया था | वस्तुतः वैदिक मन्त्र कीलित होते है जिनको की जनसाधारण द्वारा सिद्ध करना बहुत ही मुस्किल कार्य है | तथा इनको बिना गुरु के ना ही समझा जा सकता है और ना ही इन्हें सिद्ध करने का अधिकारी हो सकता है | मन्त्र उच्चारण भी बहुत कठिन होते है जिनको की बिना व्याकरण ज्ञान के ठीक ढंग से उच्चारित नहीं किया जा सकता है | तब जाकर शिव जी, गुरु गोरखनाथ, नाथ पंथी, सिद्ध साधको आदि ने लोक कल्याण के लिए इन शाबर मंत्रो का निर्माण किया जिनका कोई भी व्यक्ति किसी भी धर्म, जाति, उम्र, स्त्री, पुरुष कोई भी इनका प्रयोग बड़ी ही आसानी से खुद ही कर सकता है | शाबर मंत्रो की सिद्धी के लिए वैदिक तांत्रिक मन्त्रो जैसे कड़े एंव समस्या पूर्ण विधान नहीं होते है | इनके साथ समय, स्थान, पात्र, सामग्री, जप संख्या, हवन आदि की ज्यादा जरूरत नहीं पड़ती | कहीं भी, कभी भी, किसी भी स्थिति में कोई भी इन शाबर मंत्रो का प्रयोग कर सकता है |
वैदिक मन्त्र शास्त्र में तो अगणित मन्त्र-तन्त्र है | इसी प्रकार अन्य धर्म – मुस्लिम, जैन, बुद्ध आदि में भी ये कम नही है | ये मन्त्र तन्त्र प्राय: लुप्त होते जा रहे है | कारण की हमारे पूर्वज अपने तन्त्र मन्त्र ज्ञान को अपने साथ ही ले कर चले गये | अब जो कुछ बी बचा है वो बुल्कुल ना के बराबर है | बहुत से लोग ये समझते है कि पुस्तक का पाठ कर लिया, अब हम सिद्ध साधक / भगत / तांत्रिक बन गये | इन प्रकार की आशा करना बेकार है |
आज तक आपने कई तन्त्र मन्त्र की पुस्तकें देखि और पढ़ी होगी , लेकिन जेसा की मैं आपको EBOOK मैं मत्रों का संग्रह दे रहा हूँ वेसी आपने ना तो देखि होगी और ना ही सुनी होगी | ऐसे ऐसे मन्त्र तन्त्र प्रयोग इन पुस्तकों में दियें गये है जोकि कई हजारों रुपये खर्च करने पर भी सिद्ध महापुरुष लोग किसी को नही बताते | ये मन्त्र ऐसे है जोकि छोटी से छोटी साधना की पूर्ति करने व जप करने से ही मन्त्र के वीर / सिद्ध आत्मा अपना प्रभाव तुरंत ही दिखाने लगते है |
आज तक आपने कई तन्त्र मन्त्र की पुस्तकें देखि और पढ़ी होगी, लेकिन जेसा की मैं आपको EBOOK मैं मत्रों का संग्रह दे रहा हूँ वेसी आपने ना तो देखि होगी और ना ही सुनी होगी | ऐसे ऐसे मन्त्र, तन्त्र, यन्त्र प्रयोग इस पुस्तक में दियें गये है जोकि कई हजारों रुपये खर्च करने पर भी सिद्ध महापुरुष / भगत लोग किसी को नही बताते | ये मन्त्र ऐसे है जोकि छोटी से छोटी साधना की पूर्ति करने व जप करने से ही मन्त्र के वीर / सिद्ध आत्मा अपना प्रभाव तुरंत ही दिखाने लगते है |
इन मंत्रों के सभी मंत्र, यंत्र, यंत्र, कार्यवाही और उनके तरीकों को आज के चरम समय को देखकर हाइलाइट किया गया है, ताकि आम लोग जो भी कोई अन्य काम करते है वे भगत लोग , इस ग्रामीण शक्ति का लाभ उठा सकते हैं। आपने आज तक कई किताबें पढ़ी हैं, जिसमें इस तरह के तरीकों का विवरण, जप और पूजा सामग्री , समय अवधि, दी जाती है कि आप केवल पढ़ने के बाद ही टूट जाते हैं और उन पुस्तकों में लिखी सभी बातो का पालन करना एक आम आदमी के लिए सम्भव भी नही होता , लेकिन इन पुस्तकों में सभी विधियां सरल हैं |
इस भाग “शाबर मन्त्र भाग 20 अद्भुत शाबर मन्त्र” में आपको अनेक प्रकार के प्राचीन प्रमाणिक अद्भुत शक्तिशाली शाबर मंत्रो, व् तंत्रों सम्बन्धी रहस्यों, बारीकियो का ज्ञान होगा और शाबर मन्त्रो की सिद्धि, प्रयोग, जप नियम, सीमायें आदि की पूर्ण जानकारी प्राप्त होगी | और अगर आप एक शाबर मन्त्र साधक है या आपका ऐसा ही विचार है कि शाबर मन्त्र साधना करने का तो यह पुस्तक आपके लिए बहुत ही अनिवार्य है जिसका की अध्ययन आपको जरुर ही करना चाहिए | व् अपने शाबर मन्त्र साधक जीवन को अग्रसर करना चाहिए |
इस ईबुक के सभी मंत्र, यंत्र, यंत्र, कार्यवाही और उनके तरीकों को आज के चरम समय को देखकर हाइलाइट किया गया है, ताकि आम लोग जो भी कोई अन्य काम करते है वे भगत लोग, इस ग्रामीण ज्ञान का लाभ उठा सकते हैं। आपने आज तक कई किताबें पढ़ी हैं, जिसमें इस तरह के तरीकों का विवरण, जप और पूजा सामग्री , समय अवधि, दी जाती है कि आप केवल पढ़ने के बाद ही टूट जाते हैं और उन पुस्तकों में लिखी सभी बातो का पालन करना एक आम आदमी के लिए सम्भव भी नही होता , लेकिन इन पुस्तकों में सभी विधियां सरल हैं | पूर्व में प्रकाशित भाग 19 की तरह ही इसमें भी विभिन्न प्रकार के शाबर मन्त्रो का संग्रहं किया गया है जिससे की केवल एक ईबुक में ही आपकी समस्याओ से सम्बंधित हल व् उपाय आपके समक्ष प्रस्तुत हो सके | हमारा ध्येय आपकी समस्याओ का अंत, सुरक्षित, अन्न-धन से भरपूर व् खुशहाल जीवन व्यतीत करना है | आप फिर भी किसी भी प्रकार की समस्या के लिए हमे लिख सकते है |
जैसा
की आपको ज्ञात है की अभी तक हमने शाबर मन्त्र पुस्तक के कुल 20 भाग ईबुक के रूप में प्रकाशित किये है जिनका की
हमारे पाठकगण बहुत लाभ ले चुके है और समय समय पर हमे सुचना देते रहते है की
उन्होंने किस मन्त्र, तन्त्र
आदि का प्रयोग किया, किस
विषय/कार्य के लिए किया और उन्हें कैसा परिणाम मिला | और साथ ही हमारे बहुत
से पाठकगण हमसे अपनी समस्याओं ईमेंल के द्वारा व् फोन कॉल के द्वारा शेयर करते है और अपनी समस्याओ के उचित समाधान भी
प्राप्त करते है |
अभी
तक हम अपने पाठकों को सभी ईबूक्स अलग अलग भागो में भेजते थे जिसमे समय भी लगता था
और कई
बार बहुत से भाईयो को सभी ईबुक्स ढूंढने में भी समय लगता था अत: अब हम प्रस्तुत
करते है
शाबर
मन्त्र महाशस्त्र
जोकि
केवल एक ही ईबुक है और इसी ईबुक में सभी शाबर मन्त्र के भाग 1 से 20 तक के सम्पूर्ण मन्त्र-तन्त्र-यंत्र-टोटके आदि दिए
गये है | जिससे
की पाठकों को बार बार अलग-अलग ईबुक्स को ढूँढना, खोजना आदि परेशानियों से भी छुटकारा
मिलेगा |
शाबर मन्त्र की सभी ईबुक्स
भाग 1 से 20 तक का वास्तविक मूल्य
: 6180/- रूपए है | और इन ईबुक्स की कीमत
पाठकों के लगातार सकारात्मक सफलता को देखते हुए समय समय पर आगे बढ़ाई जाती रही है | अगर
आप अभी
शाबर मन्त्र महाशास्त्र
को अभी खरीदते है तो
आपको मात्र xxx/- रुपये
में प्राप्त हो जाएगी |
समय तक के लिए ही है |
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